अगले कुछ महीनों के भीतर ही राजस्थान में विधानसभा के चुनाव होने हैं। अब सवाल यही है कि क्या राजस्थान में भी हर पांच साल पर बदलने वाली सरकार का "रिवाज बदलेगा" या "रिवाज कायम रहेगा"। इसको लेकर राजनीतिक दलों ने अपने अपने तरीके से सियासी दांवपेच चलने शुरू कर दिए हैं। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सरकार बदलने वाले रिवाज को बदलने के लिहाज से ऐसा सियासी दांव चला है जिसको कि मास्टर स्ट्रोक के तौर पर देखा जा रहा है। सात जिलों को बनाने की तैयारियों के बीच गहलोत ने 19 जिले बनाने का दांव चलकर सियासी हवाओं को एक अलग ही दिशा दे दी है। राजनीतिक जानकारों का मानना है कि गहलोत सरकार की ओर से जिले बनाने से ना सिर्फ स्थानीय लोगों को साधने की कोशिश की है, बल्कि जातिगत समीकरणों के लिहाज से भी बड़ा दांव चला है। भारतीय जनता पार्टी ने इसको सियासी दांव ही माना है।
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